जनसत्ता, 20 फरवरी 2009 : पाकिस्तान सरकार की क्या इज्ज़त रह गई है ? क्या कोई उसे संप्रभु राष्ट्र की सरकार कह सकता है ? राष्ट्रपति ज़रदारी अमेरिकी टीवी चैनल से एक दिन कहते हैं कि तालिबान पाकिस्तान पर बस अब कब्जा करनेवाले ही हैं| वे सबसे बड़ा खतरा हैं| और दूसरे दिन वे तालिबान के आगे घुटने टेक देते है| स्वात घाटी में तालिबान के साथ 10 दिन के युद्घ-विराम समझौते पर दस्तखत कर देते है| … [Read more...] about आतंक के युद्घ में पाक भितरघाती है, सहयोद्घा नहीं
Archives for February 2009
अरब-इस्राइल शांति-प्रकि्रया अधर में
राष्ट्रीय सहारा, 19 फरवरी 2009 : किसी भी देश में आम चुनाव होते हैं तो प्राय: एक पार्टी जीतती है और एक नेता प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनता है लेकिन इस बार इस्राइल में अजूबा हुआ है| दो-दो पार्टियाँ और दो-दो नेता सत्तारूढ़ होने और प्रधानमंत्री बनने का जश्न मना रहे हैं| यह कैसे हुआ ? इस्राइल की संसद में कुल 120 सीटें हैं| दर्जन भर पार्टियों ने चुनाव लड़ा लेकिन किसी भी पार्टी को … [Read more...] about अरब-इस्राइल शांति-प्रकि्रया अधर में
पाक के शीर्षासन का रहस्य
Dainik Bhaskar, 17 Feb. 2009 : इधर आसिफ ज़रदारी ने बयान दिया कि बस, अब पाकिस्तान पर तालिबान का कब्जा होने ही वाला है और उधर तालिबान ने स्वात घाटी में युद्घ-विराम घोषित कर दिया| इतना ही नहीं, तालिबान ने चीनी इंजीनियर को भी रिहा कर दिया| पाकिस्तान सरकार ने यह भी मान लिया कि मुंबई-हमले का षड़यंत्र् कराची में ही हुआ था और अजमल कसाब पाकिस्तानी ही है| उसने आधा-दर्जन आतंकवादियों को भी … [Read more...] about पाक के शीर्षासन का रहस्य
कब तक चलेगा पाकिस्तान का झाँसा
दैनिक भास्कर, 12 फरवरी 2009 : पाकिस्तान को लेकर कई घटनाएँ इधर एक साथ हुईं| ए.क्यू. खान की रिहाई, भारत को अल-क़ायदा की नई धमकी, मुंबई-हमले पर पाकिस्तान की टालू प्रतिकि्रया, अमेरिका के विशेष दूत रिचर्ड हॉलब्रुक की पाकिस्तान-यात्र, बि्रटेन द्वारा पाक-अफगान मामलों के विशेष दूत की नियुक्ति ! राष्ट्रपति ओबामा की पहली पत्र्कार परिषद में पाकिस्तान का जमकर उछलना ! इन सब घटनाओं का सार … [Read more...] about कब तक चलेगा पाकिस्तान का झाँसा
शराबबंदी गुंडागीरी से नहीं, गांधीगीरी से
राष्ट्रीय सहारा, 10 फरवरी 2009 : राम के नाम पर यह कैसा काम ? लड़के पिएँ तो कुछ नहीं और लड़कियाँ पिएँ तो हराम ! पब से सिर्फ लड़कियों को पकड़ना, घसीटना और मारना-इसका मतलब क्या हुआ ? क्या यह नहीं कि हिंसा करनेवालों को शराब की चिंता नहीं है बल्कि लड़कियों की चिंता है| वे शराब विरोधी नहीं हैं, स्त्री-विरोधी हैं| यदि शराब पीना बुरा है, मदिरालय में जाना अनैतिक है, भारतीय सभ्यता का … [Read more...] about शराबबंदी गुंडागीरी से नहीं, गांधीगीरी से
शराबबंदी गुंडागीरी से नहीं, गांधीगीरी से
राष्ट्रीय सहारा, 10 फरवरी 2009 : राम के नाम पर यह कैसा काम ? लड़के पिएँ तो कुछ नहीं और लड़कियाँ पिएँ तो हराम ! पब से सिर्फ लड़कियों को पकड़ना, घसीटना और मारना-इसका मतलब क्या हुआ ? क्या यह नहीं कि हिंसा करनेवालों को शराब की चिंता नहीं है बल्कि लड़कियों की चिंता है| वे शराब विरोधी नहीं हैं, स्त्री-विरोधी हैं| यदि शराब पीना बुरा है, मदिरालय में जाना अनैतिक है, भारतीय सभ्यता का … [Read more...] about शराबबंदी गुंडागीरी से नहीं, गांधीगीरी से
जज और मंत्री क्यों छिपाएँ अपनी संपत्ति
राष्ट्रीय सहारा, 6 फरवरी 2009 : सुभाषचंद्र अग्रवाल नामक एक आम आदमी ने हमारे प्रधानमंत्री कार्यालय और उच्चतम न्यायालय की खाट खड़ी कर दी है| ये दोनों संस्थाएँ हमारे लोकतंत्र् के दो स्तंभ हैं| तीन में से दो ! अग्रवाल ने सूचना के अधिकार के तहत जानकारी मांगी है, उच्चतम न्यायाधीशों और मंत्रियों की चल और अचल संपत्ति की| जजों और मंत्रियों की संपत्तियाँ घोषित की जाएं, इससे सूचना आयोग … [Read more...] about जज और मंत्री क्यों छिपाएँ अपनी संपत्ति
इस्लाम और योग : ओम और अल्लाह
Bhaskar, 03 Feb 2009 : योगासनों के विरूद्घ मुल्ला और मौलवी फतवे जारी नहीं करेंगे तो कौन करेगा ? मुल्ला-मौलवी, महंत-मठाधीश, पोप-पादरी बने ही इसलिए हैं कि वे धर्म के नाम पर चाबुक फटकारते रहें| वे सदियों से चाबुक फटकार रहे हैं| उन्होंने किस-किस की खाल नहीं उधेड़ी ? राजा-महाराजा, आस्तिक-नास्तिक, भगत-जगत, किंचन-अकिंचन-कोई नहीं बचा, उनकी क्रोधाग्नि से ! वे धर्म के रक्षक हैं, ठेकेदार … [Read more...] about इस्लाम और योग : ओम और अल्लाह